हिजड़ा / किन्नर (Hijra) क्या होता है? मानव के ऐसा जाति को किन्नर या हिजड़ा कहते हैं जो लैंगिक रूप से न तो नर (पुरुष) होते हैं और ना ही मादा (स्त्री) होते हैं। किन्नर के लोग माता पिता नहीं बन सकते क्योंकि उनका प्रजनन अंग पूरी तरह विकसित नहीं होता है।
Kinnar kise kahate hain?
मानव के ऐसा जाति को किन्नर या हिजड़ा कहते हैं जो लैंगिक रूप से न तो नर (पुरुष) होते हैं और ना ही मादा (स्त्री) होते हैं।
आइए विस्तार से जानते हैं। कृपया इस आर्टिकल को Conclusion Point तक जरूर चेक कर लें।
किन्नर किसे कहते हैं (Kinner kon hoti hai?)
Kinner kon hoti hai? कुछ ही लोगों को यह बात पता होगा कि किन्नर एक जाति का भी नाम है। जो हिमालय के कन्नोर प्रदेश (हिमवत् और हेमकूटि) में रहते हैं उनकी भाषा कन्नौरी है। लेकिन कुछ लोगों का मानना है कि हिजड़ा उर्दू शब्द है और किन्नर हिंदी शब्द है।
इस विवाद से बचने के लिए सरकार एवं समाजिक संगठनों ने किन्नर (हिजड़ा) को थर्ड जेंडर यानि कि तीसरा लिंग (तृतीय प्रकृति के लोगों) कहने की आवश्यकता महसूस किया है।
Kinnar Ka Matlab (किन्नर का अर्थ)
- तेलुगु – नपुंसकुडु, कोज्जा या मादा
- तमिल – थिरु नंगई, अरावनी
- अंग्रेजी – Eunuch /Hermaphrodite / LGBT
- गुजराती – पवैय्या
- पंजाबी – खुसरा
- उर्दू – ख़वाजह सरा, ज़नख़ा
- कन्नड़ – जोगप्पा.
भारत के अन्य जगह पर – Hijra / छक्का / किन्नर / हिजड़ा / खोजा / नपुंसक / थर्ड जेंडर, आदि ।
हिजड़ा का इतिहास बहुत ही रोचक है
हिजड़ा का इतिहास काफी पुराना है। जबसे मनुष्य जाति धरती पर है तभी से हिजड़ा का इतिहास है। महाभारत और रामायण के पन्नों को पलटेंगे तो पता चलेगा कि वहां पर हिजड़ों का इतिहास रहा है।
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पहले किन्नर राजाओं एवं महाराजाओं के घर पर नाचने और गाने के काम क्या करते थे। साथ ही शादी व बच्चों के जन्म पर भी वह नाच-गाना करते थे।
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शादी में नाच-गाने का काम अभी भी करते हैं जो उनका आय का मुख्य स्रोत है। लेकिन कुछ सालों से देह व्यापार में भी शामिल रहे हैं।
मुगल के समय में हिजड़ों को राज-दरबारी काम मिला था। भारत के स्वतंत्रता आंदोलन में हिजड़ों ने सक्रिय भूमिका निभाई थी जिसके कारण ब्रिटिश सरकार ने हिजड़ा समुदाय को अपराधी घोषित कर दिया था। भारत सरकार ने 1949 में इस कानून को निरस्त कर दिया गया था।
सर्वोच्च न्यायालय के फैसले के बाद भारत में हिजड़ो को अन्य नागरिकों की तरह सभी मौलिक अधिकार प्राप्त हैं।
आप जैसा कि जानते हैं किन्नर या हिजरा माता पिता नहीं बन सकते हैं लेकिन सवाल उठता है कि किन्नर कैसे पैदा हो जाते हैं? आपको बता दूं कि किन्नरों का जन्म भी हमारे ही घर में होता है।
किन्नर के रूप में जन्मे बच्चे को माता पिता स्वयं किन्नरों के हवाले कर देते हैं या किन्नर खुद उसे ले जाते हैं। जिसका वह लालन पोषण करते हैं।
मानव जाति का क्रोमोसोम संख्या 46 होता है। जिसमें 44 आटोजोम होता है। बाकी दो सेक्स क्रोमोजोम होते हैं।
यही दो सेक्स क्रोमोसोम सब कुछ का निर्णय करता है। अगर यही दो सेक्स क्रोमोसोम XY है तो वह पुरुष कहलाता है। जबकि, XX होने पर महिला कहलाता है।
Kinnar kise kahate hain? XY और XX क्रोमोसोम के इलावा ( XXX, YY, OX ) क्रोमोसोम वाले मनुष्य को क्रोमोसोमल डिसऑर्डर बोलते हैं जिसे आम भाषा में छक्का या हिजड़ा या किन्नर कहा जाता है।
जब बच्चा मां के गर्भ में पल रहा होता है। कुछ कारणों से क्रोमोजोम नंबर में या क्रोमोसोम की आकृतियों में परिवर्तन हो जाता है। जिसके कारण किन्नर पैदा हो जाते है।
किन्नर की संख्या लगातार देश में घट रहा है क्योंकि अब मेडिकल साइंस यह पता कर लेता है कि मां के गर्भ में पलने वाला बच्चा किन्नर तो नहीं है। अगर होता है। गर्भ में ही मार दिया जाता है जिसे मेडिकल टर्मिनेशन ऑफ प्रेगनेंसी बोलते हैं।
किन्नर की शव यात्रा क्या होती है?
किन्नर समुदाय का मौत का भी कहानी बिल्कुल अलग है। किन्नर की मौत पर किन्नर समुदाय के लोग 1 हफ्ते का उपवास रखते हैं। लेकिन वह गम नहीं मनाते हैं, उसका मानना है कि मरने के बाद इस नर्क रूपी जीवन से छुटकारा मिल जाता है।
किन्नर की शव यात्रा रात्रि के समय निकलता है। इस यात्रा में किन्नर समाज के सभी लोग शामिल होते हैं। यह ध्यान रखते हैं कि गैर किन्नर समाज के लोग इसे ना देखें। किन्नर मुर्दों को जलाया नहीं जाता है बल्कि इसे दफनाया जाता है। किन्नरों की शादी सिर्फ 1 दिन के लिए होती है।
किन्नर का राज क्या है?
किन्नर ना तो पूरी तरह हिंदू धर्म को मानते हैं ना ही पूरी तरह वह मुस्लिम धर्म को मानते हैं. किन्नर के कई राज हैं जिनमें से यह आपको जानना आवश्यक है कि किन्नरों की शादी सिर्फ 1 दिनों के लिए होती है. किन्नर समाज में किसी का मौत हो जाए तो उनके साथी सप्ताह तक उपवास सकते हैं.
यह एक मानव का तीसरा रूप है, इसीलिए हम चाहे हिंदू हो या मुस्लिम हो या सीख हो हमें उनकी इज्ज़त करनी चाहिए।
Conclusion Point
हिजड़ा को ही Kinnar कहा जाता है। जो प्राकृतिक तौर पर हमारे ही परिवार में पैदा होते हैं। उनके पैदाइश के बाद उनका किन्नर समाज इसे उठाकर ले जाता है। अपने पास उस बच्चे का लालन पोषण करता है।
मेडिकल साइंस के अनुसार, ट्रांसजेंडर शब्द का प्रयोग चिकित्सा विभाग में अप्राकृतिक तरीकों से लिंग बदलने के लिए किया जाता है। कोई हिजरा भी अपना लिंग को और प्राकृतिक तरीके से बदलकर ट्रांसजेंडर बन सकता है। मेल और फीमेल बॉडी को कैसे पहचानते हैं?
याद रखें कि ट्रांसजेंडर अप्राकृतिक तरीक़े बनाया जाता है। कोई व्यक्ति अगर मेडिकल साइंस के मदद से अपनी लिंग बदल जाता है तो उसे ट्रांसजेंडर कहा जाता है.
इसके विपरीत हिजरा बिल्कुल प्राकृतिक तरीकों से ही बर्थ लेता है। यह कभी कबार हमारे ही परिवार के बीच में पैदा होते हैं. किंतु उसे हिजरा बिरादरी के लोग उस बच्चे को गोद लते हैं.
हिजड़ों को अक्सर हाशिए पर रखा जाता है और समाज में भेदभाव का सामना करना पड़ता है। हालांकि, कुछ जगहों पर उन्हें पवित्र लोगों के रूप में सम्मानित किया जाता है और आशीर्वाद के लिए, उनसे सलाह ली जाती है।